उत्तरकाशी-वनाग्नि की घटनाओं को रोकने के लिए वन विभाग ने कसी कमर,जल्द होगी वन विभाग में 10 हजार वन प्रहरियों की भर्ती
उत्तरकाशी।।। वन अग्नि की रोकथाम के लिए वन विभाग ने कमर कस दी है वन विभाग के अपर प्रमुख वन एवं वन्य जीव संरक्षक एवं जनपद के नोडल अधिकारी रंजन कुमार मिश्र उत्तरकाशी पहुंचे। उन्होंने कहा कि वनाग्नि की घटनाओं को लेकर वन विभाग काफी गम्भीर है इस समय वनों में जो आग लग रही है उसको लेकर वन विभाग काफी अलर्ट है कि आखिर वनों को आग से कैसे बचाया जाए। इसके लिए सबसे पहिले जन-2 में जागरूकता जरूरी है कि वनों में आग लगने से क्या-2 नुकसान है सबसे पहिले हमे जन-2 तक ये बताना होगा वनों में आग लगने से सबसे ज्यादा नुकसान हमारे प्राकृतिक जल स्रोतों को होता है साथ ही लाखों की वन संपदा के साथ वन्य जीवों को भी भारी नुकसान पहुंचता है इसलिए वनों को आग से बचाने के लिए जन जागरूकता जरूरी है।
रंजन कुमार मिश्र ने कहा कि जनपद दौरे पर हूँ और मैं सभी वन रेंजों में क्रू स्टेशनों का निरीक्षण करूंगा धरासू वन रेंज में मैंने वन पंचायत और स्थानीय लोगों से बातचीत की है लोगों के अंदर काफी उत्साह है कि वनों को अग्नि से कैसे बचाया जाए वही वनों को अग्नि से बचाने के लिए उपकरणों की भी आवश्यकता होती है वन विभाग के पास उपकरण पर्याप्त मात्रा में है लेकिन अगर कहीं पर कोई कमी है तो उसको तत्काल पूरा किया जाएगा वही प्रभागीय वन अधिकारी उत्तरकाशी ने मुझे बताया है जिला प्रशासन उत्तरकाशी भी वन अग्नि को नियंत्रण करने के लिए वन विभाग का लगातार सहयोग कर रहा है मैं वन विभाग के सभी अधिकारी कर्मचारियों से बातचीत करूंगा और उनकी समस्याओं के बारे में भी जानने की कोशिश रहेगी। वहीं रंजन कुमार मिश्र ने कहा कि राज्य और केंद्र सरकार लगातार वनाग्नि को रोकने का प्रयास कर रही है इसको लेकर हमें इस और भी ध्यान देना है कि जल संरक्षण के साथ वनों को आग से बचाना हमारा पहला कर्तव्य है अगर वनों को आग से नहीं बचाया गया तो जल सरंक्षण की कल्पना हम नहीं कर सकते जिसके लिए वन विभाग लगातार प्रयास कर रहा है वही रंजन कुमार मिश्र ने कहा कि जल्द ही वन विभाग 10 हजार वन प्रहरियों की भर्तियां करने जा रहा है वन प्रहरियों की भर्ती होने पर वन विभाग को वनाग्नि की घटनाओं को रोकने में काफी मदद मिलेगी।
नोडल अधिकारी रंजन कुमार मिश्र के उत्तरकाशी दौरे पर उनके साथ वन विभाग के सभी अधिकारी और कर्मचारी मौजूद रहे ।
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